पूर्व पाकिस्तानी अंपायर लाहौर में लगा रहा जूतों की दुकान, सोशल मीडिया पर तस्वीर हुई वायरल

अंपायर साल 2006-2013 से आईसीसी के एलीट पैनल में शामिल थे

Update: 2022-06-25 11:50 GMT

असद राऊफ

क्रिकेट जगत में जब तक कोई खिलाड़ी क्रिकेट खेलता रहता है या क्रिकेट से सीधे तौर पर जुड़ा रहता है। तब तक उस खिलाड़ी और व्यक्ति के पास काफी शोहरत और पैसा होता है। लेकिन जब वो क्रिकेट खेलना छोड़ देता है या क्रिकेट से दूर चले जाता है तो उस खिलाड़ी या व्यक्ति को अपना पेट पालना भी मुश्किल हो जाता है। अब इसका कुछ ऐसा ही ताजा उदाहरण पाकिस्तान से सामने आया है। जहां पूर्व पाकिस्तानी अंपायर इन दिनों एक जूते की दुकान पर जूते बेच रहे हैं। उनकी जूते बेचती हुई तस्वीर सोशल मीडिया पर काफी वायरल हो रही हैं। 

आपको बता दें कि इस पाकिस्तानी अंपायर का नाम असद रऊफ है। वे साल 2006 से 2013 तक आईसीसी एलीट अंपायर पैनल के सदस्य थे और उन्होंने कई हाई प्रोफाइल मैचों में अंपायरिंग की हैं। लेकिन साल 2013 में स्पाॅट फिक्सिंग के कारण उन पर आईसीसी ने बैन लगा दिया था। अब इन दिनों पाकिस्तानी अंपायर असद रऊफ एक बार फिर चर्चा में हैं। लाहौर के मशहूर लांडा बाजार में वह जूतों-कपड़ों की दुकान चला रहे हैं। जैसे ही उनकी तस्वीर वायरल हुई, हर तरफ उनकी ही बात हो रही है।

असद रऊफ

उन्होंने अपनी वायरल तस्वीर को लेकर कहा कि वो यह दुकाने अपने लिए नहीं चला रहे हैं। वो अपने स्टाफ के लोगों के लिए यह दुकान चला रहे हैं। ताकि उनकी रोजी-रोटी चल सके। वो और उनकी पत्नी पांच बार की नमाज पढ़ते हैं। उनका एक बेटा दिव्यांग है और दूसरा हाल ही में अमेरिका से अपनी पढ़ाई पूरी कर लौटा है। खुद को लेकर उन्होंने कहा कि उनकी आदत है कि वो जो भी काम करते हैं। उसके पीक पर जाते हैं। उन्होंने क्रिकेट खेला तो उसके पीक पर गए। इसके बाद अंपायरिंग की तो उसके पीक पर गए। अब दुकानदारी में भी उन्हें पीक पर जाना है। 

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