ब्राजील के महान फुटबॉलर पेले का निधन, 82 वर्ष की उम्र में ली अंतिम सांस

फुटबॉल के महानतम खिलाड़ियों में शुमार पेले ने करीब दो दशक तक अपने प्रशंसकों का खेल के जरिए मनोरंजन किया

Update: 2022-12-30 08:40 GMT

 ब्राजील के महान फुटबॉलर और रिकॉर्ड तीन विश्व कप जीताने वाले पेले का बृहस्पतिवार को निधन हो गया। वह 82 वर्ष के थे। पेले कोलन कैंसर से जूझ रहे थे। उन्होंने कीमोथेरेपी ट्रीटमेंट का जवाब देना भी बंद कर दिया था। पेले को हाल ही में अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां पता चला कि उन्हें रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन भी है। इंस्टाग्राम पर उनकी बेटी केली नेसिमेंटो ने उनके निधन की पुष्टि की।

फुटबॉल के महानतम खिलाड़ियों में शुमार पेले ने करीब दो दशक तक अपने प्रशंसकों का खेल के जरिए मनोरंजन किया। वह ब्राजील को फुटबॉल के शिखर तक लेकर गए और साओ पाउलो की सड़कों से शुरू किए अपने सफर में इस खेल के ग्लोबल एम्बेसडेर भी बने। पेले के रहते हुए ब्राजील ने 1958, 1962 और 1970 में विश्वकप जीता था। उन्होंने ब्राजील की तरफ से 77 गोल किए। उनके इस राष्ट्रीय रिकॉर्ड की हाल में विश्वकप के दौरान नेमार ने बराबरी की थी। 

पेले की रोसमेरी डोस रिस चोल्बी और असिरिया सेक्सास लेमोस से शादियों से पांच बच्चे और बिना शादी के दो बेटियां हैं। बाद में उन्होंने कारोबारी मार्शिया सिबेले ओकी से शादी कर ली थी।

फीफा ने उन्हें 'द ग्रेटेस्ट' की उपाधि दी 

पेले का असली नाम एडसन अरांतेस डो नेसिमेंटो था, लेकिन वह पेले के नाम से मशहूर हुए। उनका जन्म 23 अक्टूबर, 1940 को ब्राजील के ट्रेस कोराकोएस में हुआ था। फीफा द्वारा उन्हें 'द ग्रेटेस्ट' का शीर्षक भी मिला। पेले ने तीन शादियां कीं। उनके कुल सात बच्चे हैं।

महान खिलाड़ी रहे पेले

पेले ने अपने करियर में (1956-1974) काफी समय तक ब्राजीलियाई क्लब सांतोस का प्रतिनिधित्व किया। इस क्लब के लिए उन्होंने 659 मैचों में 643 गोल किए। अपने फुटबॉल करियर के अंतिम दो वर्षों में पेले ने यूएसए में न्यूयॉर्क कॉसमॉस के लिए खेला।

पेले ने छह मौकों (1961, 1962 1963, 1964, 1965 और 1968) में ब्राजीलियाई लीग खिताब (कैम्पियोनाटो ब्रासीलेरो सेरी ए) जीता और 1962 और 1963 में दो बार कोपा लिबर्टाडोरेस खिताब जीता। वह सैंटोस के 'गोल्डन एरा' (1959-1974) के प्रमुख खिलाड़ियों में से एक रहे और उन्हें 1962 और 1963 में दो इंटरकॉन्टिनेंटल कप खिताब तक पहुंचाया। दोनों मौकों पर फाइनल में सैंटोस ने पुर्तगाली क्लब बेनफिका को हराया।

फीफा प्लेयर ऑफ द सेंचुरी अवॉर्ड से सम्मानित किया गया 

पेले को फीफा प्लेयर ऑफ द सेंचुरी अवॉर्ड से भी सम्मानित किया जा चुका है। यह उपलब्धि उन्होंने अर्जेंटीना के डिएगो माराडोना के साथ साझा की, जिनका पिछले साल निधन हो गया था। पेले ने 18 साल की उम्र में अपना पहला विश्व कप खिताब जीता था। इस दौरान उन्होंने छह गोल किए थे। इसमें स्वीडन के खिलाफ फाइनल में दो गोल शामिल थे। 1962 तक पेले ने खुद को दुनिया के शीर्ष फुटबॉल खिलाड़ियों में से एक के रूप में स्थापित कर लिया था। 

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