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टोक्यो 2020

टोक्यो ओलंपिक बना अब तक का सबसे खर्चीला ओलंपिक आयोजन, लगभग 10.61 खरब रूपये हुए खर्च

प्रशंसकों के स्टेडियम में नहीं होने से आयोजकों को टिकट बिक्री से होने वाली आय का नुकसान भी हुआ।

टोक्यो ओलंपिक बना अब तक का सबसे खर्चीला ओलंपिक आयोजन, लगभग 10.61 खरब रूपये हुए खर्च
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Amit Rajput

Updated: 21 Jun 2022 5:05 PM GMT

पिछले साल आयोजित हुए टोक्यो ओलंपिक अब तक के सबसे खर्चीले ओलंपिक आयोजन साबित हुए है। इन ओलिंपिक खेलों के आयोजन में लगभग 13.6 बिलियन डॉलर (लगभग 10.61 खरब रुपये) खर्च हुए। जो साल 2013 में लगाए अनुमान से दोगुना साबित हुए। इस खर्च का दावा मंगलवार को आयोजित की गई आयोजन सीमित की बैठक में किया गया। जहां टोक्यो ओलंपिक में शुरूआत से लेकर अंत तक हुए खर्च का हिसाब किया गया।

बैठक के दौरान आयोजन समिति को डॉलर और जापान की मुद्रा येन के बीच विनिमय दर में हालिया उतार-चढ़ाव के कारण चुनौतियों का सामना करना पड़ा। वही आपको बता दें कि जब ओलंपिक खेलों का आयोजन किया गया था तब डॉलर लगभग 110 येन के बराबर था जबकि सोमवार को यह 135 येन के करीब रहा। यह येन के मुकाबले डॉलर का लगभग 25 वर्षों में उच्चतम स्तर है। वही जब ये खेल संपन्न हुए थे तब आयोजकों ने इसमें 15.4 बिलियन डॉलर (लगभग 12 खरब रुपये) के खर्च होने का अनुमान लगाया था।

इसके चार महीने के बाद आयोजकों ने कहा कि इसकी कुल लागत 13.6 बिलियन डॉलर ( लगभग 10.61 खरब रुपये) है। उन्होंने कहा कि प्रशंसकों के स्टेडियम में नहीं होने से इसमें बड़ी बचत हुई है। सुरक्षा लागत, स्थल रखरखाव आदि पर खर्च कम हुए। इससे हालांकि आयोजकों को टिकट बिक्री से होने वाली आय का नुकसान भी हुआ।

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